नारी नव दुर्गा. रूद्र रूप, ज्ञान की देवी है : पद्मेश बवेजा

विद्या भारती हरियाणा द्वारा गीता कन्या वरि0 मा0 विद्यालय में 15.04.2018 को प्रांतीय महिला कार्यकर्त्ता कार्यशाला का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ मुख्य अतिथि मा. श्रीमती पद्मेष बवेजा जी ने मॉं सरस्वती के चरणों में दीप प्रज्ज्वलित कर किया। विद्या भारती हरियाणा के सहसंगठन मंत्री माननीय श्री रवि कुमार जी एवम् प्रांत प्रशिक्षण प्रमुख श्री रामकुमार जी व हिन्दू शिक्षा समिति की उपाध्यक्षा श्रीमती राजविज जी भी कार्यशाला में उपस्थित रहे। कार्यशाला में 21 महिला कार्यकर्त्ताओं ने भाग लिया। श्रीमती चन्द्रिका जी द्वारा कार्यशाला का संयोजन किया गया। प्रथम सत्र में डा. पद्मेष बवेजा जी ने महिला में अन्तर्निहित सप्त शक्तियों के बारे में विस्तार से जानकारी दी और बताया कि नारी नव दुर्गा, रूद्र रूप, ज्ञान की देवी है। अपनी शक्तियों को जाने, परखें और सही दिशा हमारी युवा पीढ़ी जो भटक चुकी है उसे सही राह पर ला सकती है क्योकि माता निर्माता है, प्रथम गुरू है और संस्कार देती है। द्वितीय सत्र में डा. ऋचा तंवर जी ने सामाजिक कार्यकर्त्ता के नाते महिला की भूमिका के बारे में बताया कि समाज स्थिर नही, बदलता रहता है। समाज की समस्याओं को पहचानना और उनका हल महिलाओं के हाथ में है।

समाज तथा परिवार की सोच को बदलने में माँ का महत्वपूर्ण योगदान है। लड़की को माँ और पत्नी के रूप में ना तैयार करके देश के नागरिक के रूप में तैैयार करें। तृतीय सत्र में दो खेलों के द्वारा सभी ने जाना कि हम भारतीय संस्कृति और सनातन परम्परा के संवर्धन एवं विकास में किस प्रकार योगदान दे सकते है | चतुर्थ सत्र में डा. निर्मल पोपली जी ने बालिका शिक्षा के बारे में जानकारी दी। विद्यालय प्राचार्या श्रीमती सुनीता चावला जी ने कार्यशाला में उपस्थित सभी महिला कार्यकर्त्ताओं का आभार अभिव्यक्त किया। कार्यशाला का समापन शांति मन्त्र द्वारा किया गया।

 

 

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